नई दिल्ली, जागरण संवाददाता। दिल्ली में सीआरपीएफ में तैनात एक महिला कांस्टेबल को कराची से वॉट्सएप पर कॉल आया। फोन करने वाले ने सीआरपीएफ के शिविर और अन्य महत्वपूर्ण चीजों के बारे में जानकारी मांगी। इसके एवज में मुंहमांगी कीमत देने का प्रस्ताव दिया। मामले की गंभीरता को समझ जब महिला कांस्टेबल ने फोन काट दिया तो कॉल करने वाले ने उसे वॉट्सएप पर वीडियो कॉल भी की। हालांकि महिला कांस्टेबल ने फोन नहीं उठाया और मामले के बारे में वरिष्ठ अधिकारियों को सूचना दी। फिलहाल दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल मामले की जांच कर रही है।
एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि सीआरपीएफ में जिस महिला कांस्टेबल के फोन पर कॉल आई, वह विकासपुरी में तैनात हैं। फोन पर आया नंबर पाकिस्तान का है। कॉल करने वाले ने सीआरपीएफ कर्मी से कहा कि वह उसे अच्छी तरह से जानता है। उसने महत्वपूर्ण जानकारी दी। उसने महिला कांस्टेबल को उसके नाम से पुकारा और उसके घर के पते और पोस्टिंग सहित उसके बारे में कई बातें बताकर कहा कि वह उसे अच्छे तरह से जानता है। फोन करने वाले ने उसे सीआरपीएफ के शिविर और चल रहे ऑपरेशन के बारे में जानकारी देने को कहा।
स्पेशल सेल के सूत्रों ने बताया कि महिला कांस्टेबल ने बागपत से यह फोन नंबर लिया। दुकानदार से पूछताछ करने के लिए एक टीम वहां भेजी गई। सूत्र बताते हैं कि यह बड़ी साजिश की तरफ इशारा है। महिला कांस्टेबल का कोई सोशल मीडिया अकाउंट नहीं है। उसने हाल ही में यह मोबाइल नंबर लिया है। कराची से कॉल करने वाला महिला कांस्टेबल और बेस कैंप के बारे में बहुत कुछ जानकारी रखता है।
गौरतलब है कि इसी साल जनवरी महीने में पाकिस्तान के लिए जासूसी करने के आरोप में 13 लोगों को गिरफ्तार किया गया था। हैरानी की बात है कि इन आरोपितों में 11 नौसैनिक और दो आम नागरिक शामिल थे। सभी आरोपी सोशल मीडिया के जरिए पाकिस्तानी खुफिया एजेंटों को नौसेना से संबंधित संवेदनशील सूचनाएं लीक करते थे। पाक के एजेंटों ने इन सभी को हनी ट्रैप में फंसा रखा था। इस जासूसी के मामले में सबसे पहले आंध्र प्रदेश पुलिस, नौसेना की खुफिया इकाई और केंद्रीय खुफिया एजेंसियों ने संयुक्त कार्रवाई में सात नौसैनिकों को गिरफ्तार किया था